हरिद्वार। जिलाधिकारी हरिद्वार, श्रम आयुक्त व सहायक श्रम आयुक्त के निर्देश अनुसार श्रम निरीक्षक हरिद्वार मीनाक्षी भट्ट ने स्थानीय पुलिस के साथ मिलकर नगर पंचायत सुल्तानपुर में दो दुकानों पर छापेमारी करते हुए दो नाबालिक बच्चों को पकड़ा और उनके परिजनों को बुलाकर बच्चों को उनके सुपुर्द कर दिया। टीम ने दुकानदार के विरुद्ध कार्रवाई करते हुए कोतवाली में आकर पुलिस को तहरीर दी।
श्रम निरीक्षक मीनाक्षी भट्ट ने बताया कि सुल्तानपुर में श्रम विभाग की टीम ने छापेमारी कर दो दुकानों से दो नाबालिक बच्चों को काम करते हुए पकड़ा है, जिनकी उम्र करीब 12 वर्ष वह 13 वर्ष है। उन्होंने बताया की दोनों नाबालिग बच्चों के परिजनों को मौके पर बुलाकर उनकी काउंसलिंग की गई और उन्हें समझाया गया कि बच्चों को स्कूल भेजकर उनका भविष्य सुरक्षित करें ना की उनसे दुकानों पर काम कर उनका भविष्य बर्बाद करें।
जिन दुकानों पर ये बच्चे काम कर रहे थे उनके संचालकों के खिलाफ श्रम कानून के तहत मामला दर्ज कराया गया है। उन्होंने बताया कि अन्य दुकानदारों को बाल एवं किशोर श्रम एक्ट के बारे में समझाया गया और जानकारी दी गई है कि इस एक्ट का उल्लंघन करने पर उन्हें क्या-क्या दंडात्मक कार्रवाई झेलनी पड़ सकती है।
निरीक्षक मीनाक्षी भट्ट ने साफ तौर पर कहा कि यह अभियान आगे भी इसी तरह जारी रहेगा और बाल श्रम के मामलों में सख्त कार्रवाई होगी। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग (NCPCR) के निर्देशों के तहत जिला स्तरीय टास्क फोर्स हरिद्वार द्वारा यह अभियान लगातार चलाया जा रहा है।
इस अभियान में श्रम निरीक्षक मीनाक्षी भट्ट के साथ सीडब्ल्यूसी सदस्य मंजू अग्रवाल, 1098 चाइल्ड हेल्पलाइन से करनैल सिंह, श्रम विभाग के अंकुर चौधरी और सुल्तानपुर पुलिस चौकी से कांस्टेबल अजीत तोमर व मनोज मनाल शामिल रहे।