हरिद्वार: जिला अस्पताल हरिद्वार के चिकित्सक का शव बहादराबाद थाना क्षेत्र में पुलिस ने संदिग्ध परिस्थियों में बरामद किया।
जिला अस्पताल हरिद्वार के संविदा चिकित्सक का शव बहादराबाद थाना क्षेत्र स्थित नहर पटरी से पुलिस ने संदिग्ध परिस्थियों में बरामद किया है। मृतक की नाक, मुंह पर चोट व खून के निशान थे। प्रारम्भिक तौर पर मृतक की पहचान नहीं हो सकी थी, लेकिन बाद में मृतक की पहचान डॉ. गोपाल गुप्ता के तौर पर हुई है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार बहादराबाद पुलिस ने क्षेत्र स्थित नहर पटरी से शाम को सूचना पर एक व्यक्ति का संदिग्ध परिस्थितियों में शव बरामद किया है। जिसकी शिनाख्त के प्रयास किये गये। लेकिन प्रारम्भिक तौर पर शव की पहचान नहीं हो सकी।
सूचना पर एसएसपी प्रमेन्द्र सिंह डोबाल, एसपी सिटी पंकज गैरोला समेत अधिकारी मौके पर पहुंचे। जिन्होंने घटना स्थल का निरीक्षण करते हुए अधीनस्थों से घटना की जानकारी ली। बताया जा रहा हैं कि पुलिस को मृतक के पास से ऐसा कोई भी वस्तु नहीं मिली, जिससे मृतक की पहचान हो पाती। एसएसपी ने अधीनस्थों को शव की पहचान और घटना की तह तक पहुंचने के सम्बंध में निर्देश दिये।
बहादराबाद पुलिस की पहचान कराने के प्रयास के दौरान मृतक की पहचान आखिर जिला अस्पताल में तैनात संविदा चिकित्सक डॉ. गोपाल गुप्ता के तौर पर हुई। जिसकी शिनाख्त जिला अस्पताल के चिकित्साधिकारियों डॉ. आरवी सिंह, डॉ. विकास व स्टाफ समेत मृतक चिकित्सक के पिता द्वारा मृतक चिकित्सक लक्सर हरिद्वार के रहने वाले है। जोकि पिछले करीब दडेढ़ साल से जिला अस्पताल में अपनी सेवाए दे रहे थे।
बताया जा रहा हैं कि पिछले 3-4 दिनों से वह घर नहीं जा रहे थे और जिला अस्पताल में ही रह रहे थे। पुलिस प्रथम दृष्ट्या घटना को हत्या मानकर चल रही है।
लेकिन चिकित्सक की मौत की सही वजह का पता पोस्टमार्टम रिपोर्ट से हो सकेगा। सवाल उठता हैं कि चिकित्सक वहां पर कैसे पहुंचे, क्योंकि पुलिस को घटना स्थल पर कोई वाहन, पर्स, मोबाइल, घड़ी आदि कुछ बरामद नहीं हुआ है। पुलिस पूरे मामले की जांच में जुटी है।
बहादराबाद थाना एसओ नरेश राठौर ने बताया कि सूचना पर पुलिस ने नहर पटरी से एक शव बरामद किया। जिसके पास कोई ऐसी वस्तु पुलिस को नहीं मिली, जिससे उसकी पहचान हो पाती।
लेकिन काफी प्रयासों के बाद मृतक की शिनाख्त जिला अस्पताल हरिद्वार के चिकित्सक डॉ. गोपाल गुप्ता के तौर पर हुई है। जिसकी पहचान जिला अस्पताल के चिकित्सकों, स्टॉफ और मृतक के पिता की ओर से की गई है।